गुरुवार को राजशाही लग्नविधि और दीक्षा महोत्सव सहित अन्य आयोजन




रतलाम 7 मई 2025 । सागोद तीर्थ अंजन शलाका प्रतिष्ठा महोत्सव में परमात्मा का मातृभूमि से संसार भूमि पर अवतरण जन्म कल्याणक की खुशियों के साथ मनाया गया। प्रभु का जन्म होते ही तीर्थ भूमि पर सुघोषा घंटनाद, ढोल – नगाड़े – शहनाई और गगनचुम्बी जयकारे-जयघोष सुनाई दिए। परमात्मा के जन्मउत्सव से वातावरण आनंदित और प्रकृति प्रफ्फुलित नजर आयी। वही बंधु बेलड़ी आचार्य श्री प्रतिष्ठाचार्य जिन-हेमचन्द्रसागर सूरीश्वर जी म.सा. के 63 वें दीक्षा दिवस पर सकल श्रीसंघ ने दर्शन – वंदन कर उनके सुदीर्ध संयम जीवन की शुभेच्छा भेंट की । गुरुवार को मुमुक्षु धर्मेश जैन का वीरपथ पर विजय प्रस्थान सहित विविध आयोजन होंगे।
राजशाही लग्नविधि विधान
श्री वीसा पोरवाल जैन श्वेताम्बर तीर्थ ट्रस्ट सागोदिया ट्रस्ट द्वारा बंधु बेलड़ी आचार्य श्री प्रतिष्ठाचार्य जिन-हेमचन्द्रसागर सूरीश्वर जी म.सा, आदि ठाणा 25 की निश्रा में आयोजित महोत्सव में पंच कल्याणक महोत्सव दुसरे दिन जन्म कल्याणक विधान, भगवान के 250 अभिषेक सभी जिनबिम्ब- गुरुबिम्ब, अठारह अभिषेक, ध्वजा दंड, प्रियम्वदादासी द्वारा जन्म बधाई आदि विधान में समाजजन शामिल हुए। छोटी छोटी बालिकाओं ने 56 दिक्क्कुमारी के रूप में एवं प्रियम्वदादासी द्वारा प्रभावी प्रस्तुतियां दी गई। भगवान के सांसरिक पक्ष से लाभार्थी परिवारों ने विधान में भक्तिभाव से हिस्सा लिया। गुरुवार 8 मई को परमात्मा की राजशाही लग्नविधि, राजतिलक सहित अन्य विधान होंगे।
टॉप 10 आचार्य में सुशोभित
बुधवार को बंधु बेलड़ी आचार्य श्री प्रतिष्ठाचार्य जिन-हेमचन्द्रसागर सूरीश्वर जी म.सा. का 63 वां दीक्षा दिवस महोत्सव मनाया गया। सकल श्रीसंघ ने आचार्यश्री को अक्षत से वधाते हुए उनके जिनशासन को समर्पित संयम जीवन को अनुकरणीय बताया। आचार्य श्री प्रसन्नचन्द्रसागर सूरिजी म.सा, आचार्य श्री विरागचन्द्रसागर सूरिजी म.सा, आचार्य श्री पदमचन्द्रसागर सूरिजी म.सा. एवं आचार्य श्री आनंदचन्द्रसागर सूरिजी ने गुरु गुणानुवाद में अपने शब्द सुमन अर्पित किये। उन्होंने कहा कि केवल 10 वर्ष की उम्र में संयम जीवन स्वीकार कर बंधु बेलड़ी आचार्य श्री ने धर्म, संस्कृति,संस्कार, विश्वशांति, सोहाद्र के साथ मानव और शासन सेवा के विभिन्न सेवा प्रकल्प समाज को दिए है। यही वजह है कि शताधिक शिष्य शिल्पी बंधु बेलड़ी आचार्य श्री आज जैन समाज के टॉप 10 आचार्य में सुशोभित है। साथ ही आचार्य श्री आनंदचन्द्रसागर सूरिजी, गणिवर्य श्री मेघचंद्रसागर जी म.सा., साध्वी श्री मेघवर्षाश्रीजी एवं पदमवर्षाश्रीजी के 30 वें दीक्षा दिवस की अनुमोदना की गई।
धर्मेश जैन लेंगे दीक्षा
मुमुक्षु धर्मेश जैन भी प्रतिष्ठा महोत्सव में संयम जीवन अंगीकार करने जा रहे है। 19 वर्षीय ग्राम ऊँचा बरर्डीया चौमहला निवासी दिक्षार्थी बहुत कम समय में ज्ञान, दर्शन और चरित्र तप साधना करते हुए भगवान महावीर के वीरपथ के पथगामी होने जा रहे है। दीक्षा के पहले ही करीब 1100 किमी की पदयात्रा कर चुके है। बुधवार को दिक्षार्थी के कपड़े रंगने की विधि साध्वी श्री सौम्ययशाश्रीजी म.सा,साध्वी श्री अर्पिताश्रीजी म.सा, साध्वी श्री रश्मिताश्रीजी म.सा, साध्वी श्री समर्पिताश्रीजी म.सा एवं साध्वी श्री पंथसिद्धीश्रीजी म.सा. आदि ठाणा की निश्रा में हुई। गुरुवार को दीक्षा कल्याण, मुमुक्षु का वरघोडा एवं दीक्षा विधान सुबह होंगे।बंधु बेलड़ी आचार्य श्री उन्हें रजोहरण प्रदान करेंगे।