अपने हाथों से किया हुआ कर्म ही अपनी आत्मा के साथ चलता है – राष्ट्र संत कमल मुनी कमलेश

इंदौर महावीर भवन 30 सितंबर 2023 । जिसने माता-पिता अथवा दादा दादी जीवित होने पर उनकी उपेक्षा की और मरने के बाद श्राद्ध करना उनके जख्मो पर नमक छिड़कने के समान है। उक्त विचार राष्ट्र संत कमल मुनी कमलेश ने संबोधित करते कहा कि जिसके व्यवहार से माता-पिता आदि की आंखों से दर्द का गर्म पानी निकल जाता है उसके जन्म पर ही धिक्कार है। मुनि कमलेश ने बताया कि दुनिया से जाने के बाद उनके नाम पर लाखों का दान भी कर दो तो भी उसे आत्मा का इससे कोई संबंध नहीं है।
उन्होंने कहा कि अपने हाथों से किया हुआ कर्म ही अपनी आत्मा के साथ चलता है। हम किसी भी आत्मा को तकलीफ नहीं देंगे यह संकल्प लेना उनके चरणों में सच्ची श्रद्धांजलि होगी। राष्ट्र संत ने दुख के साथ कहा कि आध्यात्मिक देश में वृद्ध आश्रम का निर्माण होना हम सबके लिए कलंक की बात पर शर्मनाक घटना है। जैन संत ने बताया कि प्राणी मात्रा में परमात्मा विद्यमान है उनको कष्ट से मुक्त करके सुख शांति समृद्धि पहुंचाना चारों धाम की यात्रा से बढ़कर है यही लक्ष्य उपासना साधना का होना चाहिए
अखिल भारतीय जैन दिवाकर विचार मंच नई दिल्ली महिला शाखा महाराष्ट्र अहमदनगर तब प्रतिनिधि मंडल श्रीमती शैला चंगेड़िया सेवा में उपस्थित होकर महाराष्ट्र पधारने की विनती की और बताया कि 18 राज्यों में दिवाकर मंच के हजारों कार्यकर्ता गौ सेवा संत सेवा मानव सेवा के रूप में श्राद्ध पक्ष बनाकर क्रांति का शंकर नाथ मनी कमलेश की प्रेरणा से कर रहे हैं नेहा जैन त्रिशला जैन शकुंतला जैन ने स्वागत किया।