जावरा (अभय सुराणा))। अंहिसा परमोधर्म जीवदया, पर्यावरण प्रकृति का असली प्राण है धर्म मोक्ष और महापुरुषों से भी इसका महत्व ज्यादा है जीवदया मानवता पर्यावरण के बिना उनका निर्माण भी संभव नहीं प्राणीमात्र के प्रति करुणा दया परोपकार के बिना सृष्टि की कल्पना नहीं की जा सकती। आज के इस युग में मानव ने स्वार्थ और विलासिता में डूब कर प्रकृति पर जो कहर ढाया है खुद के लिए विनाश का निमंत्रण दे रहा है उसका उदाहरण वर्तमान में कोरोना वायरस का कहर केवल मानव जाती पर है जिसका मुख्य कारण प्रकृति से छेड़छाड़ के कारण पुरे विश्व में कोवीड-19 संकट छाया हुआ है ऐसे समय में निश्चित रुप से जैन सोश्यल ग्रुप जावरा मैत्री परिवार द्वारा ग्राम जंगली लसुडीया स्थित तालाब पर जल की कमी को देखते हुए पानी के टेंकरो के माध्यम से तालाब मे जल छोडा जा रहा है वह निश्चित रुप से प्राणीमात्र एंव जीवदया के लिये अकल्पनीय सेवा करते हुए अनगिनत मछलियों को अभय दान देने का जो प्रयास किया जा रहा है वह निश्चित रुप से अनुकरणीय अनुमोदनीय है उक्त विचार जैन सोश्यल ग्रुप्स इंटरनेशनल फेडरेशन के मुखपत्र मगंलयात्रा के कोर्डीनेटर संदीप रांका ने ग्राम जगली लसुडीया तालाब पर कहे।
जैन सोश्यल ग्रुप्स इंटरनेशनल फेडरेशन के अंतराष्ट्रीय डायरेक्टर अनिल धारीवाल ने कहा कि प्रकृति की रक्षा मे ही हमारी रक्षा निहित है इसका कोई विकल्प नहीं है विश्व की संपूर्ण संपत्ति दान देकर भी जल, पृथ्वी, वृक्ष और वायु सहित जीवों का निर्माण नहीं किया जा सकता है इसलिए हम सभी को सुरक्षा का ध्यान देना होगा आज भीषण गर्मी के दोरान हम सभी के प्रयासो से जो कार्य जीवदया प्रकृती के लिये जंगली लसुडीया स्थित तालाब पर जो जल छोड़ा जा रहा है जेएसजी जावरा मैत्री ग्रुप द्वारा कि जा रहीं सेवा पर्यावरण जीवदया के लिये सेवा प्रकल्प के लिये वंदनीय है।
उक्त जानकारी देते हुए जेएसजी जावरा मैत्री के अध्यक्ष राजीव लुक्कड एंव प्रचार सचिव आकर्ष जैन ने बताया कि जैन सोश्यल ग्रुप जावरा मैत्री परिवार द्वारा वर्तमान समय में गर्मी अपने रोद्र रुप मै है जिसके कारण जल स्तर लगातार कम होता जा रहा है जिसके कारण ग्राम जंगली लसुडीया स्थित तालाब मै पानी कम होने के कारण लाखो मछलियों के जीवन पर संकट आने की संभावना को देखते हुए टेंकरो के माध्यम से तालाब पर लगातार पानी छोडा जा रहा है जिससे मछलियों को नुकसान ना पहुंचे इसी करुणा दया सेवाभाव के प्रति सजगता के साथ ग्रुप के दंपती साथियों के सहयोग से जलापुर्ती तालाब पर कि जा रहीं हैं साथ ही पिछले वर्ष भी भीषण गर्मी मे तालाब पर 150 टैंकर पानी डलवा कर अबोल जीवो को अभयदान दिया गया था । लॉक डाउन के दौरान नियमों का पालन करते हुए जेएसजी जावरा मैत्री सदस्यों द्वारा ग्राम जंगली लसुडीया तालाब पर पहुंचकर मछलियों को आटे की गोटीया परमल खिलाने के साथ तालाब पर डल रहें पानी के टेंकर का निरीक्षण भी किया। साथ ही ग्रुप के उपस्थित सदस्यों द्वारा आत्मनिर्भर के निर्माण का संकल्प लेते हुए भारत को मजबूत बनाने के लिए मेक इन इंडिया मेड इन इंडिया कि वस्तुओं के उपभोग करने के संकल्प के साथ दूसरों को भी प्रेरित करने का प्रण लिया गया है। इस मोके पर जेएसजीआईएफ के जावरा झोन कार्डीनेटर पकंज काठेड, सचिव दिपक मेहता, उपाध्यक्ष अजय पटवा, आलोक बरैया, मनीष मेहता, निलेश कांकरिया, आशीष चत्तर, आलोक कांकरिया, संजय पटवा, अनमोल लुक्कड उपस्थित थे। अंत में आभार सचिव दिपक मेहता द्वारा व्यक्त किया गया।